अख़्तर शीरानी की नज़्म ‘ऐ इश्क़ हमें बर्बाद न कर’
Aye Ishq Humen Barbaad Na Kar ~ Akhtar Shirani ऐ इश्क़ न छेड़ आ आ के हमें हम भूले हुओं…
हिन्दी और उर्दू साहित्य का संगम
Aye Ishq Humen Barbaad Na Kar ~ Akhtar Shirani ऐ इश्क़ न छेड़ आ आ के हमें हम भूले हुओं…