दिल को छू लेने वाले ख़ूबसूरत शेर..
Deep Shayari हज़ारों ख़्वाहिशें ऐसी कि हर ख़्वाहिश पे दम निकले, बहुत निकले मिरे अरमान लेकिन फिर भी कम निकले…
हिन्दी और उर्दू साहित्य का संगम
Deep Shayari हज़ारों ख़्वाहिशें ऐसी कि हर ख़्वाहिश पे दम निकले, बहुत निकले मिरे अरमान लेकिन फिर भी कम निकले…
Ab Ke Hum Bichhde To Shayad Kabhi Khwaabon mein Milen.. अब के हम बिछड़े तो शायद कभी ख़्वाबों में मिलें…
Best Urdu Ghazals ~ मिर्ज़ा ग़ालिब (Mirza Ghalib) की ग़ज़ल (Ghazal): बस-कि दुश्वार है हर काम का आसाँ होना बस-कि…
Ab Aur Kya Kisi Se Marasim Badhayen Hum अहमद फ़राज़ की ग़ज़ल: अब और क्या किसी से मरासिम बढ़ाएँ हम…